गंडक दियारा संघर्ष समिति के संयोजक स्वर्गीय अनिल मांझी के परिजनों पर 15 दिन पहले बालू माफियाओं ने जानलेवा हमला किया था। इस हमले में उनकी वृद्ध मां गंभीर रूप से घायल हो गईं, वहीं उनके भाई और बेटे को भी बुरी तरह पीटा गया। परिवार के सदस्य गोपालगंज से पटना तक इलाज के लिए दौड़ते रहे, लेकिन इस मामले में अभी तक मुख्य आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है।
स्वर्गीय अनिल मांझी के छोटे भाई प्रदीप मांझी ने बताया कि पुलिस ने नामजद प्राथमिकी दर्ज करने के बाद सिर्फ खानापूर्ति के लिए एक आरोपी को गिरफ्तार किया है, जबकि बाकी आरोपी खुलेआम घूम रहे हैं। उन्होंने कहा कि बालू माफिया बांध को कमजोर करने और किनारे से अवैध खनन करने का प्रयास कर रहे थे। जब उनके परिवार ने इसका विरोध किया, तो उन पर हमला किया गया।
परिवार ने पुलिस की उदासीनता पर गहरा दुख व्यक्त किया है और पुलिस अधीक्षक से आरोपियों पर सख्त कार्रवाई की गुहार लगाई है। परिवार ने कहा कि यदि जल्द न्याय नहीं मिला, तो वे बड़े स्तर पर आंदोलन करने को मजबूर होंगे।
गंडक दियारा संघर्ष समिति के संयोजक के परिजनों पर हमला, पुलिस पर कार्रवाई न करने का आरोप
